संसद में शनिवार को रामलला से सम्बंधित विशेष चर्चा रखी गई, इस दौरान तमाम सांसदों ने अपने विचार प्रस्तुत किये, कांग्रेस के राज्यसभा सांसद प्रमोद तिवारी ने सत्ता पक्ष की ओर इशारा करते हुए कहा कि उस तरफ जो लोग बैठे हैं वो सभी ‘भगवान राम के व्यापारी’ हैं।

कांग्रेस के सांसद प्रमोद तिवारी ने सत्ता पक्ष को ‘भगवान राम का व्यापारी’ बताया, उन्होंने कांग्रेस के लोगों को भगवान राम का पुजारी बताया और कहा, “हम भगवान राम की मर्यादा को बचाने के लिए अपनी जान भी दे सकते हैं,” साथ ही सत्ता पक्ष की ओर इशारा करते हुए कहा कि वे वो लोग हैं जो अपने राजनीतिक फायदे के लिए किसी की जान भी ले सकते हैं।
“गाँधी जी राम के सच्चे पुजारी”
प्रमोद तिवारी ने कहा कि सिर्फ वो ही नहीं बल्कि देश के 140 करोड़ लोग सुप्रीम कोर्ट के फैसले का आदर करते हैं, जिस के कारण ही राम मंदिर बना, उन्होंने कहा, “मैं भगवान राम का व्यापारी नहीं हूँ, भगवान राम मेरे लिए आस्था का विषय हैं, 140 करोड़ लोगों ने सुप्रीम कोर्ट के फैसले का सम्मान किया है, कांग्रेस सांसद ने राज्यसभा में कहा कि भगवान राम का कोई सच्चा पुजारी है तो वो हैं महात्मा गांधी जी।
“चुनाव है प्राण प्रतिष्ठा का असली कारण”
प्रमोद तिवारी ने राम मंदिर कि प्राण प्रतिष्ठा पर कहा कि उन्होंने जितना पढ़ा है और जितना वो जानते हैं उसके मुताबिक प्राण प्रतिष्ठा तब की जाती है जब मंदिर पूर्ण रूप से बन जाता है। उन्होंने सवाल उठाया कि आखिर प्राण प्रतिष्ठा की इतनी जल्दी क्या थी, अगर राम मंदिर का निर्माण काम नवंबर-दिसंबर तक पूरा होना था तो 22 जनवरी की तारीख को ही प्राण प्रतिष्ठा का ऐलान किस कारण से किया गया,

कांग्रेस सांसद ने कहा कि जब हम मंदिर नहीं जाते तो हम ध्वजा को प्रणाम करते हैं राम मंदिर का ध्वजा कहां है, और तो और बिना कलश के प्राण प्रतिष्ठा कैसे हो सकती है, उन्होंने इन सभी जलबाजियों का कारण सिर्फ आने वाले चुनाव को बताया और कहा की 22 जनवरी को इसलिए प्राण प्रतिष्ठा किया गया क्योंकि चुनाव नजदीक है।